शुक्रवार को मां दुर्गा की पूजा कैसे करें? सभी कष्टों से मिलेगी मुक्ति

शुक्रवार को मां दुर्गा की पूजा कैसे करें? मां भगवती दुर्गा शक्ति स्वरूपा हैं। देवी की आराधना का अर्थ है शक्ति की आराधना करना। शक्ति का रंग लाल है और इसलिए भगवती दुर्गा की आराधना में लाल रंग का बहुत अधिक महत्व होता है। शुक्रवार का दिन मां भगवती दुर्गा का दिन होता है। शुक्रवार को मां भगवती दुर्गा की आराधना करने से भक्तों के सभी कष्ट दूर होते हैं।

मां दुर्गा की पूजा कैसे करें?

मां भगवती की पूजा करने के लिए सबसे शुभ मुहूर्त ब्रह्म मुहूर्त होता है। ब्रह्म मुहूर्त को श्रेष्ठ मुहूर्त भी कहा जाता है। इसलिए शुक्रवार को सूर्य उदय से पहले उठकर स्नान आदि क्रियाओं से मुक्त होकर पूर्ण रूप से शुद्ध हो जाएं। उसके बाद शुक्रवार को मां दुर्गा की पूजा करें।

शुक्रवार को देवी दुर्गा की पूजा करने के लिए धूप, दीप नैवेद्य, मौली, फल और फूल को एकत्रित करें। देवी को लाल फूल अत्यंत प्रिय हैं। इसलिए देवी की आराधना करने वक्त लाल फूल का प्रयोग अच्छा माना जाता है। इसलिए पूजा में गुड़हल, गुलाब इत्यादि का फूल रखना चाहिए। फूल के साथ-साथ देवी दुर्गा को लाल वस्त्र और चुनर चढ़ाना चाहिए तथा वृत्ति को भी लाल वस्त्र ही धारण करना चाहिए।

पूजा में देवी पर जल चढ़ाकर उन्हें वस्त्र, चूड़ी बिंदी और लाल सिंदूर अर्पित करना चाहिए। इसके बाद दुर्गा चालीसा का पाठ करें। दुर्गा चालीसा का पाठ करने के बाद दुर्गा जी की आरती करें। पूजा के दौरान ऊँ श्री दुर्गाय नम: मंत्र का जाप करने से विशेष शुभ फल की प्राप्ति होती है।

ऐसी मान्यता है कि इस मंत्र का जाप करने से सभी प्रकार की मानसिक, आर्थिक और शारीरिक परेशानियां खत्म हो जाती हैं। यदि कोई भक्त सच्चे मन से मां भगवती दुर्गा की विधिवत पूजा करते हैं तो उनकी मनोकामना माता अवश्य पूरा करती हैं।

मां भगवती दुर्गा को दुर्गतिनाशिनी भी कहा जाता है। माता की विधिवत पूजा करने से व्यक्ति के जीवन से दुर्गति का नाश हो जाता है और जीवन में फिर से खुशियां आ जाती है। मां अपने भक्तों के जीवन के सभी कष्ट हर लेती हैं। शुक्रवार के दिन दुर्गा सप्तशती का पाठ करने से जीवन के कष्ट दूर होते हैं और भगवती दुर्गा की विशेष कृपा प्राप्त होती है।

मां दुर्गा संसार के सभी जीव जंतुओं से प्रेम करती हैं इसलिए शुक्रवार के दिन मां दुर्गा की पूजा करने के बाद गरीबों में दान अवश्य करना चाहिए। कुंवारी कन्याओं को भोजन कराना चाहिए। भूखे प्यासे जानवरों की मदद करने से मां आदिशक्ति प्रसन्ना होती है और व्यक्ति के जीवन के कष्ट दूर होते हैं। मां दुर्गा की कृपा प्राप्त करने के लिए शुक्रवार के दिन उपवास भी रख सकते हैं।

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